बचपन : इतना प्यारा , इतना सुन्दर

कदम , इस दुनिया में जब रखा ,
ज़हन, इस शरीर का जाग उठा,
दुनिया ने कहलाया उसे बचपन,
सभी की खुशियों का था वह कारन,
मन में हंसना , मन में रोना ,
आता था उस बचपन को ,
सपनो में खुश होना,
अनजान होकर प्यारी सी नींद में,
एक सुन्दर सी मुस्कान से ,
बहलाता  सभी  के दिल को,
अनजान इस दुनिया की जंग से ,
अनजान  इस संसार के जीवन से,
वह बचपन , इतना प्यारा , इतना सुन्दर |

पूछता था सवाल इतने साफ़ दिल से ,
सवाल ऐसे के पूछ रहा हो कोई सितारा, दूर संसार से,
की कोई भी ना ढूंढ पाए वह जवाब,
लेकिन कोई मना भी ना कर पाए जवाब से,
हस्ते सब , उन सवालों पर,
लेकिन नाज़ करते उन  नादानियों पर,
सवाल पूछने की वह मासूम कला,
जो बचपन में होती अपार,
धीरे धीरे यह वास्तविकताएं , यह सीमाएं ,
ले जाती यह मासूमियत दूर दराज ,
दे जाती हमें अनुभव ,
पर भूल जाते हम देखा सीमाओं के पार,
वह बचपन , इतना प्यारा , इतना सुन्दर |

देता था जवाब इतने शुद्ध मन से ,
की कोई अनुभवी भी न समझ पाए,
सब रह जाते दांग,
इतनी नादान सोच देखकर,
वह बचपन , इतना प्यारा , इतना सुन्दर |

हँसता था, सभी को हंसाता था ,
रोता  था, पर कुछ ही देर में फिर हंसने लगता  ,
न कोई राग द्वेष ,
न कोई लालच, न कोई लालसाएं विशेष ,
इतना प्यारा था, इतना सुन्दर था,
वह साधारण मन, वह निराला बचपन ,
सभी को एक समान देखता ,
न कोई भेदभाव , न प्यार का कोई आभाव ,
न ऊंच नीच की समझ ,
न कोई डर , न कोई घमंड ,
इतना सुन्दर , इतना प्यारा था वह बचपन  |

काश वह बचपन , ढूंढ पाते हम फिर से,
इतने सालों के अनुभव, से मिल जाये अगर वह बचपन की नादानियाँ ,
तो भर जाएँगी हर जगह खुशियां,
काश हंस पाते हम बिना सोचे समझे ,
पूछ पाते वह सवाल फिर से,
ढूंढ पाते वह जवाब फिर से,
कर पाते प्यार सारे संसार से ,
बिना कुछ सोचे , बिना कुछ समझे,
एक ऐसा जीवन, जिसमें हो सभी के लिए  प्यार ,
खुशियों का ना हो आभाव ,
और न किसी  के लिए भेदभाव ,
आइये ढूंढे वह बचपन हम सभी में ,
जो बनाता है हमे एक सच्चा, साधारण , प्यारा सा इंसान ,
जो है  हमारे इस जीवन की मजबूत जड़ें ,
ढूंढ लिया जो हमने वह बचपन फिर से,
मिला दिया उसे हमने अपने अनुभवों से ,
भर जाएगी यह दुनिया खुशियों से ,
होगी सभी के चेहरों पर मुस्कान,
न होगा कोई दुखी, सभी लाएंगे एक दूसरे के लिए मुस्कान ,
इतना सुन्दर , इतना प्यारा था वह बचपन  |

3 comments:

  1. Very nice and true

    एक सच्चाई एक हकीकत है ये जीवन का
    कोई मोल नहीं बचपन का..

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  2. सुन्दर अभिव्यक्ति

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